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ISRO को मिल गया लैंडर विक्रम, ऑर्बिटर ने भेजीं तस्वीरें

Chandrayaan 2: ISRO को मिल गया लैंडर विक्रम, ऑर्बिटर ने भेजीं तस्वीरें

इसरो चीफ के सिवन ने बताया, हमें चांद की सतह पर विक्रम लैंडर की लोकेशन मिल गई है और ऑर्बिटर ने लैंडर की एक थर्मल इमेज क्लिक की है।






ISRO को लैंडर विक्रम का पता चल गया है। इसरो चीफ के सिवन ने बताया कि 'हमें चांद की सतह पर विक्रम लैंडर की लोकेशन मिल गई है और ऑर्बिटर ने लैंडर की एक थर्मल इमेज क्लिक की है। लेकिन अभी तक कोई संपर्क नहीं हो पाया है। हम संपर्क करने की कोशिश कर रहे हैं। जल्द ही इससे संपर्क करने की कोशिश है। इसरो चीफ का कहना है कि ऑर्बिटर की मदद से लैंडर विक्रम की सही लोकेशन का पता चल पाया है।'
बता दें कि इससे पहले चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग कराने के भारत के साहसिक कदम को शनिवार तड़के उस वक्त झटका लगा जब चंद्रयान-2 के लैंडर ‘विक्रम’ से चांद की सतह से महज 2.1 किलोमीटर की ऊंचाई पर संपर्क टूट गया था। इसके बाद इसरो के वैज्ञानिकों में हताशा जरूर नजर आई थी लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पूरे देश को उनपर भरोसा था, जिसपर वह हमेशा की तरह फिर खरे उतरे हैं।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) अध्यक्ष के सिवन ने पहले ही कहा था कि विक्रम लैंडर का आखिरी चरण ठीक नहीं रहा, इस वजह से विक्रम से हमारा संपर्क टूट गया। हालांकि, उन्होंने कहा था कि 'उम्मीद की किरण अभी बची हुई है और अगले 14 दिनों तक हम विक्रम से संपर्क स्थापित करने की कोशिश करेंगे।' हालांकि, संपर्क तो अभी स्थापित नहीं हुआ है लेकिन ऑर्बिटर द्वारा भेजी गई तस्वीर से लैंडर विक्रम का पता चल गया है।
बता दें कि लैंडर विक्रम का वजन 1471 किलोग्राम था और इसे नियंत्रित तरीके से नीचे लाने की प्रक्रिया ‘रफ ब्रेक्रिंग’ के साथ शुरू हुई और इसने 2.1 किलोमीटर की ऊंचाई रह जाने तक ‘फाइन ब्रेक्रिंग’ के चरण को सही तरीके से पूरा किया जिसे “जटिल और भयावह” माना जाता है, लेकिन यहां के बाद एक बयान ने मिशन कंट्रोल सेंटर में मौजूद चेहरों पर निराशा की लकीर खींच दी थी कि ‘विक्रम’ के साथ संपर्क टूट गया है।



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